[A] चित्तौड़गढ़
[B] मेहरानगढ़
[C] गागरोण दुर्ग
[D] कुंभलगढ़
Answer: A
चित्तौड़गढ़ किले के भैरोंपोल में जहा कल्ला जी राठौड़ का शीश कटा तथा जहा जयमलजी ने वीरगति प्राप्त की वहा इनकी दो छतरी बनी हुयी है।
कल्ला जी राठौड़ का जन्म विक्रम संवत 1601 ईस्वी में मारवाड़ रियासत के प्रसिद्ध मेड़ता नगर में हुवा था। इनके बचपन का नाम केसरसिंह जी था।
कल्ला जी राठौड़ के पिता का नाम राव अचलसिंह जी था जो सामियाना जागीर के राव थे। कल्ला जी को चार हाथों वाले देवता, कल्ला, कल्याण, कमधज आपि उपनामों से जाना जाता है।